- एमएसएमई विभाग द्वारा किया गया लोन मेले का आयोजन
- 1 लाख 90 हजार हस्तशिल्पियों, कारीगर और युवाओं को सस्ती दर पर लोन दिया गया
- रोजगार मेला नये भारत के नये उ.प्र. के युवाओं के उज्जवल भविष्य की आधारशिला
लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने वर्ष 2014 में देश की बागडोर संभालने के बाद, युवाओं, उद्यमियों, हस्तशिल्पियों व कारीगरों की ऊर्जा व हुनर को पहचान देने के लिए स्किल इंडिया, स्टार्टअप इंडिया, स्टैंडअप इंडिया, मेक इन इंडिया, मुद्रा आदि योजनाएं/कार्यक्रम प्रारम्भ किए। वर्ष 2017 में उत्तर प्रदेश में सरकार बनने के साथ ही प्रदेश सरकार ने केन्द्र व राज्य की रोजगारपरक योजनाओं को तेजी से आगे बढ़ाया है। उसी का परिणाम था कि वर्ष 2015-2016 में जहां उत्तर प्रदेश में बेरोजगारी की दर 18 प्रतिशत से अधिक थी, वहीं कोरोना कालखण्ड की भीषण चुनौती के बावजूद प्रदेश की बेरोजगारी दर को 2.7 फीसदी तक लाने में सफलता प्राप्त हुई है।
गोरखपुर के मदन मोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय में वृहद रोजगार मेले के शुभारम्भ अवसर पर सीएम योगी ने कहा कि यह रोजगार मेला नये भारत के नये उत्तर प्रदेश के युवाओं के उज्जवल भविष्य की आधारशिला तैयार करेगा। प्रदेश में अनेक ऐसे कार्यक्रम चल रहे हैं, जिनके माध्यम से युवाओं की ऊर्जा व प्रतिभा का लाभ लेकर उत्तर प्रदेश को देश की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था के रूप में स्थापित करने की दिशा में कार्य किया जा रहा है। उत्तर प्रदेश देश की दूसरी बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की ओर अग्रसर है। प्रदेश की प्रति व्यक्ति आय को दोगुना करने में सफलता प्राप्त हुई। साथ ही, प्रदेश की जीडीपी को दोगुना करने में भी सफलता प्राप्त हुई है। प्रधानमंत्री जी ने देश को 05 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था को बनाने के क्रम में उत्तर प्रदेश को अगले 5 वर्ष के अन्दर एक ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने हेतु हस्तशिल्पियों, उद्यमियों एवं युवाओं की सहायता से अनेक कदम उठाए हैं। इस उद्देश्य की प्राप्ति के लिए इस प्रकार के रोजगार मेलों का आयोजन आवश्यक है।
उन्होंने कहा कि दोबारा सरकार बनते ही तृतीय ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी के माध्यम से 80 हजार करोड़ रुपये से अधिक के निवेश प्रस्तावों को जमीनी धरातल पर उतार कर 20 लाख नौजवानों को नौकरी की संभावना को आगे बढ़ाने का कार्य किया है। पिछले दिनों बैंकर्स कमेटी के साथ मिलकर एमएसएमई विभाग द्वारा प्रदेश में एक बड़े लोन मेले का आयोजन किया गया था। इसके तहत 1 लाख 90 हजार हस्तशिल्पियों, कारीगर और युवाओं को सस्ती दर पर लोन उपलब्ध करवाने के कार्यक्रम को भी सफलता पूर्वक आगे बढ़ाया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आज का समय इनोवेशन का है। सबको उस क्षेत्र विशेष की आवश्यकता के अनुरूप इस प्रकार के कार्यक्रमों के साथ जुड़ना होगा। मदन मोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय को नैक रैकिंग में ए ग्रेड प्राप्त हुआ है। यह ग्रेड प्राप्त होना तकनीकी विश्वविद्यालय की दृष्टि से एक बड़ी उपलब्धि है। उत्कृष्ट प्रदर्शन करने के लिये इनोवेशन, रिसर्च एवं स्टडी पेपर पर ध्यान केन्द्रित करते हुए, लोकल आवश्यकता के अनुरूप रोजगार सृजन के लिये, युवाओं को स्वावलम्बन की ओर अग्रसर करने के लिये तकनीकी विश्वविद्यालय मंच उपलब्ध कराये। ड्रोन बनाने का प्रयास इसका अच्छा उदाहरण है। ड्रोन 20 किलो सामान लेकर जा सकता है। ड्रोन सात मिनट में एक एकड़ खेत में छिड़काव कर सकता है। ड्रोन का प्रयोग कृषि के लिए अत्यन्त लाभकारी साबित होगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति के अनुरूप छात्रों को शिक्षा के दौरान ही अलग-अलग संस्थानों के साथ जोड़ने का कार्य किया जा रहा है। खास तौर पर व्यवसायिक शिक्षा, तकनीकी शिक्षा के छात्र-छात्राओं को विभिन्न उद्योगों के साथ जोड़ने का कार्य करें। मेडिकल व पैरामेडिकल के प्रशिक्षुओं को प्रथम दिन से ही हॉस्पिटल और मेडिकल कॉलेज से सम्बद्ध कर देना चाहिए। जितना उनके पास अनुभव होगा, उतने ही वह दक्ष होंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार ने मुख्यमंत्री फेलोशिप कार्यक्रम प्रारम्भ किया है। फाइनल ईयर के जो बच्चे इस योजना का लाभ लेना चाहते हैं, उन्हें इस योजना से जोड़ा जाए। इस योजना के अन्तर्गत कुछ पैसे इण्डस्ट्री देगी तथा कुछ पैसे राज्य सरकार देगी जिससे वह अपना खर्चा स्वयं निकाल सकते हैं। साथ ही, अपनी पढ़ाई को भी सफलतापूर्वक आगे बढ़ा सकेंगे। उन्होंने कहा कि प्रथम चरण में प्रदेश के 100 आकांक्षात्मक विकास खण्डों का चयन किया गया है। दूसरे चरण में 100 आकांक्षात्मक नगर निकायों का चयन किया जाएगा। इन सभी नगर निकायों तथा विकास खण्डों में एक-एक युवा को मुख्यमंत्री फेलोशिप कार्यक्रम के अन्तर्गत तैनात किया जाएगा। राज्य सरकार की इस योजना में चयनित युवाओं को टैबलेट, आवासीय सुविधा तथा मानदेय भी दिया जाएगा। उनको शासकीय योजनाओं के बारे में प्रतिदिन विजिट कर इसको अपडेट करने का कार्य करना होगा और डाटा अपलोड कर शासन को उपलब्ध करवाना होगा, जिससे उस विकास खंड की प्रगति के बारे में जानकारी प्राप्त हो सकेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि यह एक बड़ा कार्यक्रम है। जिसके अन्तर्गत हर परिवार की स्किल मैपिंग होगी, जिससे यह पता चल सकेगा कि वह परिवार शासन की किन-किन योजनाओं को प्राप्त कर रहा है एवं उस परिवार में ऐसे कितने लोग हैं, जो सरकारी नौकरी कर रहे हैं, या जो लोग रोजगार में लगे हैं। यह भी जानकारी प्राप्त होगी कि कितने परिवार ऐसे हैं जिनको न ही सरकार की किसी योजना का लाभ मिला है और न ही कोई रोजगार या नौकरी ही प्राप्त हुई है। डाटा प्राप्त होने पर सरकार उन लोगों के लिये स्पेशल कार्यक्रम चलायेगी, जिन्हें सरकारी योजनाओं का लाभ प्राप्त नहीं हो रहा है। उन परिवारों को भी चिन्हित किया जायेगा जिन्हें कोई नौकरी, रोजगार, स्वत: रोजगार कभी प्राप्त नहीं हुआ। ऐसे परिवारों के किसी एक सदस्य को रोजगार के साथ जोड़ने के एक वृहद कार्यक्रम को सरकार आगे बढ़ायेगी। इस प्रकार का वृहद रोजगार मेला इस अभियान के लिये आधार का काम करेगा। इस रोजगार मेले 136 कंपनियों के प्रतिनिधि आए हैं। हमारा लक्ष्य है कि गोरखपुर समेत पूर्वी उत्तर प्रदेश के 10 हजार नौजवानों को नियुक्ति प्राप्त हो। 10 हजार नौजवानों के लिये यह रोजगार मेला सबके सहयोग से सफल होगा।
वृहद रोजगार मेले में मुख्यमंत्री जी ने विभिन्न कंपनियों में अलग-अलग पदों पर नियुक्त हुए 25 युवाओं को नियुक्ति पत्र प्रदान किये। साथ ही, उन्होंने विभिन्न योजनाओं के माध्यम से स्वरोजगार के लिए युवा उद्यमियों को 1.37 करोड़ रुपये का ऋण भी वितरित किया। उन्होंने इस अवसर पर टेराकोटा, प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के ड्रोन स्टॉल, श्रम विभाग, कौशल विकास विभाग आदि के स्टॉलों का अवलोकन किया। इस दौरान मुख्यमंत्री ने महिलाओं को पोषण किट का वितरण किया। साथ ही, बच्चों का अन्नप्राशन भी कराया।
वृहद रोजगार मेले में व्यावसायिक शिक्षा एवं कौशल विकास राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) कपिलदेव अग्रवाल ने कहा कि मुख्यमंत्री के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश अनेक क्षेत्रों की भांति रोजगार देने में भी नंबर वन है। यह इसलिए संभव हो सका है कि मुख्यमंत्री बेहद संवेदनशील हैं और सबकी चिंता करते हैं। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री व मुख्यमंत्री की मंशा है कि युवा नौकरी मांगने वाले की बजाय नौकरी देने वाला बनें। उन्होंने कहा कि विभाग सोलर सेक्टर व एविएशन सेक्टर में भी युवाओं को ट्रेनिंग देने की कार्य योजना पर तेजी से काम कर रहा है।
प्रमुख सचिव कौशल विकास सुभाष चंद्र शर्मा ने विभागीय कार्यों की रूपरेखा प्रस्तुत की। उन्होंने बताया कि इस वर्ष तीन ऐसे वृहद रोजगार मेलों के आयोजन करने का निर्णय लिया गया है। करीब 136 कम्पनियों ने 18 हजार नियुक्तियों के लिए गोरखपुर के वृहद रोजगार मेले में रजिस्ट्रेशन कराया है। प्रदेश में सरकारी व निजी आईटीआई के जरिये 5 लाख युवाओं को रोजगारपरक प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इतनी ही संख्या कौशल विकास मिशन से प्रतिवर्ष प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे युवाओं की है।
इस अवसर पर जनप्रतिनिधि, एमएमएमयूटी के कुलपति प्रो. जेपी पांडेय, प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री एवं सूचना संजय प्रसाद सहित शासन-प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी तथा अन्य गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।