गाजियाबाद। तंबाकू नियंत्रण प्रकोष्ठ के नोडल अधिकारी एसीएमओ डा. राकेश गुप्ता ने बताया कि अभियान के अंतर्गत तंबाकू उत्पादों के दुष्प्रभावों के बारे में आमजन को और खासकर छात्रों को जागरूक किया जा रहा है। अभियान में पुलिस, शिक्षा विभाग, नगर निगम और अन्य विभागों का भी सहयोग लिया जा रहा है। बुधवार को स्वास्थ्य विभाग और उत्तर प्रदेश वालंटरी हेल्थ एसोसिएशन के तत्वावधान में एक कार्यशाला का आयोजन किया गया। नगर निगम के कर अधिकारी संजीव सिन्हा की अध्यक्षता में नवयुग मार्केट स्थित एक होटल में आयोजित कार्यशाला में तंबाकू विक्रेता लाइसेंस प्रणाली की विस्तार से जानकारी दी गई।कार्यशाला में तंबाकू नियंत्रण प्रकोष्ठ के रीजनल कोर्डिनेटर सुरजीत सिंह ने पीपीटी के माध्यम से तंबाकू विक्रेता लाइसेंस प्रणाली के बारे में विस्तार से समझाया और नगर निगम अधिकारियों से महानगर में लाइसेंस प्रणाली की वस्तुस्थिति के बारे में जानकारी ली और लाइसेंस प्रणाली को लागू कराने में तेजी लाने की बात कही। ?कार्यशाला में मौजूद नगर निगम अधिकारियों ने बताया लाइसेंस प्रणाली का गैजेट बनवाने के लिए बायलॉज बनाकर इलाहाबाद भेजे जा रहे हैं। सुरजीत सिंह ने कार्यशाला के प्रतिभागियों को कोटपा अधिनियम की धारा – 4, 5, 6 और 7 की विस्तार से जानकारी दी और जनपद में वेंडर लाइसेंस प्रणाली लागू कराने के लिए कार्ययोजना बनाकर आगे बढ़ने की बात कही ताकि लाइसेंस प्रणाली को अच्छी तरह से लागू कराया जा सके। नगर निगम के रिवेन्यू इंस्पेक्टर एवं सेनेटरी इंस्पेक्टर के साथ आयोजित कार्यशाला में रीजनल कोआॅर्डिनेटर सुरजीत सिंह ने कहा तंबाकू विक्रेता लाइसेंस प्रणाली को जनपद में लागू किया जाए, साथ ही उन्होंने यह भी पूछा कि अब तक नगर निगम द्वारा इस प्रणाली को लेकर क्या-क्या कार्य किए गए हैं। श्री सिंह ने लाइसेंस प्रणाली लागू कराने में नगर निगम के रिवेन्यू और सेनेटरी इंस्पेक्टर का क्या रोल होगा, इसके बारे में भी विस्तार पूर्वक बताया। उन्होंने कहा शासन द्वारा दिए गए निर्देशों के अनुसार लाइसेंस प्राप्त करके ही कोई वेंडर तंबाकू उत्पाद बेच सकेगा।