- विद्यालयों में एक दूसरे से बेहतर बनने की प्रतिस्पर्धा होनी चाहिए
- 30 जून तक सभी विद्यालयों में पीने के पानी की व्यवस्था की जाये
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र की अध्यक्षता में बेसिक शिक्षा विभाग की समीक्षा बैठक सम्पन्न हुई। बैठक को संबोधित करते हुए मुख्य सचिव ने कहा कि शिक्षा क्षेत्र में लगातार हो रहे महत्वपूर्ण सुधारों से प्रदेश एक सही दिशा में आगे बढ़ रहा है। हमें ऐसा काम करके दिखाना है जो पूरे देश के लिए रोल मॉडल बने। जनप्रतिनिधि, स्वयंसेवी संस्थाओं के साथ सभी राजपत्रित अधिकारियों के साथ विद्यालयों के पूर्व छात्रों का भी सहयोग स्कूलों के कायाकल्प अभियान में शामिल किया जाए।
उन्होंने कहा कि कायाकल्प अभियान जन अभियान बने इसके लिए जनसहभागिता जितनी बढ़ाई जा सके उतना बेहतर होगा। अपने पूर्वज की याद में यदि कोई भी व्यक्ति विद्यालय में भवन, उद्यान, लैब, पुस्तकालय निर्माण या फर्नीचर आदि दान में अपना योगदान देना चाहे तो दे सकता है। विद्यालयों में आधारभूत संरचना, शिक्षा और स्वच्छता का स्तर को लेकर विद्यालयों में एक दूसरे से बेहतर बनने की प्रतिस्पर्धा होनी चाहिए।
उन्होंने निर्देश दिया कि विद्यालयों में पीने का शुद्ध पानी, डेस्क बेंच हो, दिव्यांग मैत्रिक शौचालय, बिजली जैसे 19 मानकों के माध्यम से कायाकल्प अभियान तेजी से आगे बढ़े। हर हाल में 30 जून तक सभी विद्यालयों में पीने के पानी की व्यवस्था की जाय। जिन विद्यालयों में बिजली की सुविधा नहीं है उन्हें सोलर पैनेल से जोड़ा जाए।
विद्यालयों में स्वच्छता पर विशेष ध्यान देने का निर्देश देते हुए मुख्य सचिव ने कहा कि भारत में प्राचीनकाल से स्वच्छता और शुचिता का बड़ा महत्व रहा है। गुरुकुलों में पढ़ने वाले विद्यार्थी आश्रम की साफ सफाई का पूरा ध्यान रखते थे। गंदगी कई बीमारियों की जड़ है इसलिए पढ़ाई के साथ साथ विद्यार्थियों को समय समय पर हाथ धोने, परिसर की साफ सफाई, सैनिटेशन का ज्ञान देना भी जरूरी है। उन्हें वाल पेंटिंग, संवाद, प्रतियोगिता आदि के माध्यम से बच्चों को स्वच्छता और जल संरक्षण के प्रति जागरूक किया जाए।
शिक्षा की गुणवत्ता बढ़ाने पर जोर देते हुए मुख्य सचिव ने कहा कि आॅनलाइन व स्मार्टक्लास के लिए प्रभावी विषय वस्तु तैयार हो। शिक्षा प्रदान करने के साथ ही बच्चों की पाठ्येत्तर गतिविधियों को बढ़ाना जरूरी है। आजादी के अमृत महोत्सव के तहत सभी परिषदीय विद्यालयों में बच्चों द्वारा वृक्षारोपण कर उन्हें पर्यावरण संरक्षण के लिए जागरूक किया जाए। बैठक में संबंधित विभागों के वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी व अन्य वरिष्ठ अधिकारी आदि उपस्थित रहे।