नई दिल्ली। आज सुबह बैठक में विपक्षी दलों के नेताओं ने जंतर मंतर पर जारी किसानों के विरोध प्रदर्शन में शामिल होने की भी बात कही थी। ये सभी नेता किसानों के समर्थन में संसद से जंतर मंतर तक पैदल जाने का फैसला लिया था। सरकार पर निशाना साधते हुए कांग्रस नेता राहुल गांधी ने कहा कि आज सभी विपक्षी पार्टियों ने काले कानूनों को हटाने के लिए अपना पूरा समर्थन दिया। हम संसद में पेगासस की बात करना चाहते हैं, वहां पर वो पेगासस की बात नहीं होने दे रहे हैं। नरेंद्र मोदी हर हिन्दुस्तानी के फोन के अंदर घुस गए हैं।
जानकारी हो कि विपक्ष ने पेगासस जासूसी प्रकरण, पेट्रोल डीजल की कीमतों में बढ़त और कृषि कानूनों पर चर्चा की मांग को जारी रखने का फैसला लिया है। इस क्रम में शुक्रवार को राहुल गांधी समेत तमाम विपक्षी दलों के नेता बस से जंंतर मंतर पहुंचे और किसानों के विरोध प्रदर्शन में शामिल होकर नारेबाजी की। साथ ही कृषि कानूनों को रद करने की मांग की।
मालूम हो कि राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड्गे के कार्यालय में बैठक हुई। बैठक में राहुल गांधी के अलावा राज्यसभा के नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता आनंद शर्मा एवं जयराम रमेश, द्रमुक के टीआर बालू, शिवसेना के संजय राउत और अन्य विपक्षी दलों के नेता शामिल हुए।उल्लेखनीय है कि संसद सत्र के मद्देनजर किसान संगठन अपनी मांगों को लेकर जंतर-मंतर पर पिछले कुछ दिनों से सांकेतिक ‘संसद’ का आयोजन किए हुए हैं। किसान संगठनों की मांग तीनों कानूनों को निरस्त करने और न्यूनतम समर्थन मूल्य की गारंटी का कानून बनाने की है।
राहुल की ब्रेकफास्ट मीटिंग से गायब आम आदमी पार्टी समेत 14 दलों ने इस बैठक में हिस्सा लिया। सदन में विपक्ष की मांग को न मानने का आरोप सरकार पर लगाया गया है। खड्गे ने सरकार पर आरोप लगाया था और कहा था कि मुद्दों को सरकार नहीं सुलझा रही है और केवल विधेयकों को पारित करवा रही है। उन्होंने कहा कि पेगासस मामले पर विपक्ष चर्चा को तैयार है। उन्होंने कहा कि अभी चर्चा करें हम तैयार हैं।
सूत्रों के अनुसार, विपक्षी नेताओं की बैठक में यह भी तय किया गया कि पेगासस जासूसी मामला और महंगाई के मुद्दे पर सरकार को आगे भी घेरा जाएगा। पेगासस और कुछ अन्य मुद्दों को लेकर, संसद के मानसून सत्र की शुरुआत से ही दोनों सदनों में गतिरोध जारी है। संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने विपक्ष की मांग को खारिज करते हुए गत शुक्रवार को लोकसभा में कहा था कि यह कोई मुद्दा ही नहीं है।