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कोलेस्ट्रॉल शरीर के लिए है बेहद नुकसानदायक, बॉडी से बैड कोलेस्ट्रॉल आउट करती हैं ये 4 एक्सरसाइजेस

नई दिल्ली । कोलेस्ट्रॉल का खतरा ऐसी मुसीबत बन चुका है कि युवा, अधेड़ उम्र के लोग और बुजुर्ग सभी को चौंकन्ना रहने की ज़रूरत है। ये ऐसा खतरा है कि आपको खबर भी नहीं होगी और अचानक से कुछ ऐसा हो जाएगा कि हालात संभालना बेहद कठिन काम होगा। शरीर में बैड कोलेस्ट्रॉल जमने पर मोटापे के अलावा हार्ट रिलेटेड प्रॉब्लम्स जैसी सिचुएशन का सामना करना पड़ सकता है।
कोलेस्ट्रॉल से बचने के लिए आपको स्टेप बाय स्टेप योजना बनानी होगी। इसके सिर्फ बढ़ जाने पर आपके शरीर को नुकसान होने लगता है। हार्ट डिज़िज़, हार्ट अटैक और पेरिफ्रेरल आर्टरी डिज़िज़ का खतरा आपको घेर लेता है।

कोलेस्ट्रॉल दो तरह का होता है। लो डेंसिटी लिपोप्रोटींस (एलडीएल) या बैड कोलेस्ट्रॉल (हानिकारक कोलेस्ट्रॉल) आर्टरिज़ (खून के प्रवाह की नलियां) में जमा हो जाता है। इससे खतरनाक बीमारियां हो सकती हैं।

हाई-डेंसिटी लिपोप्रोटींस (एचडीएल) जिसे, अच्छा कोलेस्ट्रॉल भी कहा जाता है, शरीर में बुरे कोलेस्ट्रॉल को लिवर के पास ले जाने का काम करता है जिससे शरीर से इसका निष्कासन हो सके। हमारा लिवर शरीर की ज़रूरत का लगभग 80 प्रतिशत कोलेस्ट्रॉल का निर्माण कर लेता है। बचे हुए 20 प्रतिशत के लिए हम हमारी डाइट पर निर्भर करते हैं। मीट, अंडे, मछली, पोल्ट्री और डेयरी (दूध, दही, घी) ऐसे स्त्रोत हैं जिनसे कोलेस्ट्रॉल हमें प्राप्त होता है। पेड़ पौधों से मिलने वाले भोजन में किसी तरह का कोलेस्ट्रॉल नहीं होता।

खून में मौजूद कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करने का काम लिवर करता है। हर बार भोजन के बाद, कोलेस्ट्रॉल छोटी आंत द्वारा ग्रहण कर लिया जाता है। जिसे लिवर स्टोर करके रख लेता है। जब भी शरीर को कोलेस्ट्रॉल की ज़रूरत होती है उसके अनुसार लिवर इसे उपयोग के लिए निकाल देता है। जब शरीर में ज़रूरत से अधिक कोलेस्ट्रॉल स्टोर हो जाता है यह खून ले जाने वाली नलियों के पास जमने लगता है जिससे ये छोटी होने लगती हैं।बहुत अधिक मात्रा में ऐसा भोजन लेने से जिसमें कोलेस्ट्रॉल की मात्रा अधिक हो, शरीर में एलडीएल (बुरा कोलेस्ट्रॉल) बढ़ने लगता है। इसे हाई कोलेस्ट्रॉल कहते हैं। अगर शरीर में एलडीएल बहुत अधिक है और एचडीएल बहुत कम तो खून की नलियों में कोलेस्ट्रॉल जमा होने लगता है। शरीर में खून का प्रवाह ठीक से नहीं होता। इससे हार्ट और दिमाग में समस्या पैदा हो जाती है। यह जानलेवा भी हो सकती है। हालांकि, अगर आप डेली रूटीन में एक्सरसाइज को शामिल करते हैं, तो बैड कोलेस्ट्रॉल को बॉडी में जमा होने से रोक सकते हैं। आइए जानते हैं कि किन एक्सरसाइजेस से मिल सकता है ज्यादा फायदा..


रनिंग और जॉगिंग


रनिंग और जॉगिंग को कोलेस्ट्रॉल कम करने में असरदार माना गया है। रनिंग करने में आपके गुड कोलेस्ट्रॉल यानि एचडीएल में बढ़ोत्तरी होती है और एलडीएल यानि बैड कोलेस्ट्रॉल तेजी से घटता है। साथ ही, कैलोरीज़ बर्न करने में भी रनिंग और जॉगिंग करना बहुत फायदेमंद होता है। खाना खाने के बाद अगर आप टहलते हैं तो इससे भी काफी हद तक कोलेस्ट्रॉल कंट्रोल होता है।

स्विमिंग


स्विमिंग कैलोरीज़ बर्न करने और कोलेस्ट्रॉल घटाने में बहुत हेल्पफुल साबित होती है। इसे रनिंग और जॉगिंग से भी बेहतर माना जाता है। स्विमिंग एक कॉर्डियोवैस्कुलर वर्कआउट है। इसे करने से बॉडी फैट बर्न होता है। अगर आप रोज स्विमिंग करते हैं, तो अपना बैड कोलेस्ट्रॉल आसानी से कम कर सकते हैं। स्विमिंग में आपकी पूरी बॉडी मूव होती है, जो उसे हेल्दी रखने में मदद करता है।

एरोबिक्स


हफ्ते में कम से कम 5 दिन कुल 30 मिनट तक एरोबिक्स करने से बॉडी में बैड कोलेस्ट्रॉल की क्वांटिटी कम होती है। इतना ही नहीं, एरोबिक्स करने से आप हाई ब्लड प्रेशर की प्रॉब्लम से भी छुटकारा पा सकते हैं। इससे आपका वजन कंट्रोल में रहता है और कार्डियोवैस्कुलर प्रॉब्लम्स होने का रिस्क कम हो जाता है।

पुश-अप्स


बॉडी के कोर को मजबूत बनाने के साथ ही पुश-अप्स कोलेस्ट्रॉल कम करने में भी मददगार है। वॉर्म-अप के तौर पर इसे रोज करने से कैलोरीज़ बर्न होती है। जिससे वजन कम होता है और कोलेस्ट्रॉल भी घटता है।
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हाई कोलेस्ट्रॉल के खुद के कोई लक्षण नहीं होते। अधिकतर केस में ये बीमारी के रूप में अचानक सामने आते हैं। यह हार्ट अटैक या स्ट्रोक के रूप में सामने आता है। आपके शरीर में कोलेस्ट्रॉल बढ़ता रहता है। खून की नलियां छोटी होती रहती हैं और खून का प्रवाह ठीक से नहीं होता।

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