चंडीगढ़। पंजाब कांग्रेस में बदलाव को लेकर हाईकमान द्वारा नवजोत सिंह सिद्धू को पार्टी प्रधान बनाने की घोषणा करना तय है। इसके साथ ही सिद्धू ने राज्य के कांग्रेस विधायकों के साथ बैठक शुरू कर दी है। तीन मंत्री चरणजीत सिंह चन्नी, सुखबिंदर सिंह सरकारिया और तृप्त राजिंदर सिंह बाजवा के साथ नवजोत सिंह सिद्धू मंत्री सुखजिंदर रंधावा के घर पर पहुंचे। इसके अलावा विधायक कुलजीत जीरा, बरिंदरजीत सिंह पाहड़ा समेत आधा दर्जन भी हैं मीटिंग में मौजूद हैं।
इसके साथ ही अध्यक्ष को लेकर स्थिति करीब-करीब साफ हो गई है। पंजाब कांग्रेस के प्रभारी हरीश रावत ने संकेत दिया है कि नवजोत सिंह सिद्धू पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष हो सकते हैं। रावत ने बताया कि पंजाब कांग्रेस को लेकर फार्मूला निकाल लिया गया है। मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह और नवजोत सिंह सिद्धू मिलकर पार्टी के लिए कार्य करेंगे।
दूसरी ओर, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह के नवजोत सिद्धू को पंजाब कांग्रेस का अध्यक्ष बनाने के निर्णय के खिलाफ इस्तीफा देने की चर्चा भी फैल गई। कैप्टन की ओर से इसे पूरी तरह खारिज कर दिया गया। सीएम कैप्टन अमरिंदर के मीडिया सलाहकार रवीन ठुकराल ने कहा कि इस तरह की चर्चाएं गलत और बेबुनियाद हैं। उन्होंने (कैप्टन अमरिंदर सिंह) ने तो इस्तीफा दिया है और न ही ऐसी कोई पेशकश की है। वह 2022 के विधानसभा चुनाव में भी कांग्रेस की जीत का नेतृत्व करेंगे जैसा कि 2017 में किया था।
हाईकमान के संभावित फार्मूले के तहत नवजोत सिंह सिधू को अध्यक्ष बनाए जाने के साथ ही कैप्टन अमरिंदर सिंह कैंपेन कमेटी चेयरमैन होंगे। विजय इंदर सिंगला व संतोख चौधरी कार्यकारी अध्यक्ष बनाए जाएंगे। प्रताप सिंह बाजवा मैनिफेस्टो कमेटी चेयरमैन होंगे। इन नामों की कभी भी घोषणा संभव है। संतोख सिंह कांग्रेस के दलित चेहरा और विजय इंदर सिंगला हिंदू चेहरा हैं।
इस फार्मूला की है चर्चा-
- नवजोत सिंह सिद्धू- पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष।
- कैप्टन अमरिंदर सिंह – कैंपेन कमेटी कमेटी।
- विजय इंदर सिंगला – कार्यकारी अध्यक्ष।
-संतोख सिंह – कार्यकारी अध्यक्ष। - प्रताप सिंह बाजवा- मैनिफेस्टो कमेटी चेयरमैन।