- 584 महिलाओं ने कॉपर-टी के रूप में परिवार नियोजन अपनाया
- गर्भनिरोधक इंजेक्शन ह्लअंतराह्व अपनाने वाली पहुंचीं तीन सौ के पार
हापुड़। विश्व जनसंख्या दिवस पर जनपद में शुरू हुआ जनसंख्या स्थिरीकरण पखवाड़ा आम जन को परिवार नियोजन के प्रति जागरूक करने के साथ स्वीकार्यता भी बढ़ा रहा है। मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डा. सुनील त्यागी ने बताया कि इस आयोजन से दूर-दराज के क्षेत्रों में बैठा आमजन लाभान्वित हो रहा है। उन्होंने बताया 11 से 18 जुलाई तक जनपद में विभिन्न ब्लॉक स्तरीय स्वास्थ्य इकाइयों पर अपना परिवार पूरा कर चुकीं 25 महिलाओं ने परिवार नियोजन का स्थाई साधन अपनाते हुए नसबंदी का विकल्प चुना है, हालांकि पुरुष नसबंदी केवल एक ही हुई। उन्होंने पुरुषों से परिवार नियोजन में भागीदारी के लिए आगे आने का आह्वान करते हुए कहा – पुरुष नसबंदी एक मामूली सी शल्य क्रिया है। महिलाओं के मुकाबले पुरुष नसबंदी ज्यादा आसान, सुरक्षित और कारगर है। परिवार नियोजन कार्यक्रम के नोडल अधिकारी एसीएमओ डा. प्रवीण शर्मा ने कहा कि सुखद भविष्य के लिए परिवार नियोजन अपनाना जरूरी है। मां और शिशु का स्वास्थ्य सुनिश्चित के लिए परिवार नियोजन के अस्थाई साधन अपनाते हुए दो बच्चों के बीच तीन साल का सुरक्षित अंतर अवश्य रखें। उन्होंने बताया इसके दीर्घ कालिक अस्थाई साधनों में कॉपर- टी और त्रैमासिक गर्भनिरोधक इंजेक्शन ह्लअंतराह्व अपनाएं। 11 जुलाई से जनपद में शुरू हुए जनसंख्या स्थिरीकरण पखवाड़े के पहले आठ दिन में जनपद में 584 महिलाओं ने कॉपर -टी और 306 महिलाओं ने ह्लअंतराह्व अपनाया। जनसंख्या स्थिरीकरण पखवाड़ा 31 जुलाई तक चलेगा। इसके अंतर्गत ब्लॉक स्तरीय चिकित्सा इकाइयों पर परिवार नियोजन संबंधी सभी सेवाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं। जिला परिवार नियोजन विशेषज्ञ बृजभान यादव ने बताया – कॉपर – टी का विकल्प चुनने वाली महिलाओं में से 480 ने आईयूसीडी, 103 ने पीपीआईयूसीडी और एक महिला ने पीएआईयूसीडी का विकल्प चुना है। उन्होंने बताया ब्लॉक स्तरीय सभी स्वास्थ्य इकाइयों पर बॉस्केट आफ च्वाइस का प्रदर्शन करके लाभार्थियों के मन मुताबिक परिवार नियोजन सेवाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं।