- शहर सीट पर उपचुनाव के परिणाम पर भी पड़ सकता है इसका असर
- ई- रिक्शा बंद करने से व्यवस्था सुधरने की बजाये और बिगड़ सकती है
गाजियाबाद। अम्बेडकर रोड पर ई- रिक्शा के संचालन को व्यवस्थित किया जाए ना कि उनको बंद किया जाए। इसी मांग को लेकर गांधीनगर तुराब नगर के पार्षद नीरज गोयल ने सांसद अतुल गर्ग को एक पत्र सौंपा है। पत्र में उन्होंने सांसद अतुल गर्ग को अवगत कराया है कि प्रशासन द्वारा 12 सितंबर से अम्बेडकर रोड़ ट्रैफिक व्यवस्था को बेहतर करने के लिए ई-रिक्शा के प्रवेश पर रोक लगा दिया है। अम्बेडकर रोड पर तुराबनगर बाजार, गांधीनगर बाजार, किराना मंडी, मालीवाड़ा बाजार, सब्जी मंडी व रोडवेज बस अड्डा है। इन स्थानों पर प्रत्येक दिन सैकड़ों की संख्या में विभिन्न स्थानों से लोग आकर खरीदारी व यात्रा करते हैं। वहीं अम्बेडकर रोड, पुराने शहर को बीच में से क्रॉस करने वाली एक मात्र रोड है जिस पर रेलवे स्टेशन से होकर बस अड्डे होते हुए राजनगर, कविनगर, शास्त्रीनगर, लोहिया नगर, पटेल नगर व मेरठ रोड की तरफ जाने वाले यात्री ई-रिक्शा का उपयोग करते हैं।
शासन/प्रशासन द्वारा निजी वाहन की जगह पब्लिक ट्रांसपोर्ट को प्रयोग करने की सलाह दी जाती है जिससे पेट्रोल की बचत, ट्रैफिक जाम व सड़कों पर वाहनों का लोड कम हो सके। यदि ई-रिक्शा में रोक लगा दी गयी है तो सभी अपना निजी वाहन उपयोग करेंगे जिससे ट्राफिक जाम कम होने की जगह अधिक होगा। ई-रिक्शा के बंद होने से निश्चित ही बाजारों में बिक्री पर प्रभाव पड़ेगा जिससे व्यापारियों को अपने खर्चे निकलने भी मुश्किल हो जायेंगे। अम्बेडकर रोड पर प्रशासन द्वारा किसी भी प्रकार से पार्किंग की व्यवस्था नहीं की गई है यदि शहर के निवासी अपने-अपने वाहन से आएंगे तो वो अपने वाहन कहां खड़ा करेंगे। उन्होंने सांसद अतुल गर्ग से गाजियाबाद विधानसभा उपचुनाव भी प्रभावित होने का अंदेशा जताया है। अम्बेडकर रोड बहुत धीमी गति की रोड है, यदि उस पर ई-रिक्शा चलती है तो उससे ज्यादा नुकसान नहीं बल्कि ई-रिक्शा को रोका गया तो निश्चित ही व्यवस्था बिगड़ेगी। गाजियाबाद में पुलिस कमिशनरी लागू होने से पुलिस कर्मियों की संख्या भी बढ़ी है। ई-रिक्शा को रोकने की जगह अम्बेडकर रोड पर पुलिस व्यवस्था बढ़ाकर जगह जगह लगने वाले जाम को भी कम किया जा सकता है।