- 201 वीएचएसएनसी बैठकें आयोजित कर संचारी रोगों के प्रति संवेदीकरण किया गया
- 602 स्कूल रैलियां, 218 प्रभात फेरी और 213 ग्राम स्तरीय बैठकें की गईं आयोजित
हापुड़। विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान अंतिम चरण में है। स्वास्थ्य, शिक्षा, ग्राम विकास, शहरी विकास, पशुपालन विभाग और कृषि विभाग के सहयोग तीन अक्टूबर से शुरू हुए विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान के दौरान विभिन्न गतिविधियां आयोजित कर साफ-सफाई के साथ ही जागरूकता के लिए तमाम गतिविधियों का आयोजन किया गया। मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डा. सुनील कुमार त्यागी ने बताया कि अभियान के नोडल विभाग, स्वास्थ्य विभाग की ओर से इस विशेष अभियान के दौरान ग्राम स्वास्थ्य स्वच्छता एवं पोषण समिति (वीएचएसएनसी) की 201 बैठकें आयोजित कर संचारी रोगों के प्रति संवेदीकरण किया गया और साथ ही संचारी रोगों से बचाव के लिए साफ-सफाई की महत्ता बताई गई। उन्होंने कहा कि संचारी रोगों से बचाव के लिए जागरूकता बहुत जरूरी है। सीएमओ डा. त्यागी ने बताया कि यह मौसम वेक्टर (मच्छर-मक्खी) प्रजनन के अनुकूल होता है, इसलिए शासन के निर्देश पर अक्टूबर माह में विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान का आयोजन किया गया है। आमजन को बताया जा रहा है कि अपने घर के अंदर और घर के आसपास पानी जमा न होने दें। घर के अंदर जमा होने वाले साफ पानी में एडीज मच्छर पैदा होते हैं जो डेंगू संक्रमण के वाहक बनते हैं, इसी प्रकार घर के बाहर, नाली आदि में रुके हुए गंदे पानी में एनाफिलीज मच्छर पैदा होते हैं। संक्रमित एनाफिलीज मच्छर के काटने से मलेरिया होता है। साथ ही यह भी बताया जा रहा है कि मच्छरों से बचाव के लिए मच्छरदानी का प्रयोग करें और पूरे शरीर को ढकने वाले कपड़े पहनें। बुखार होने पर सरकारी स्वास्थ्य केंद्र पर जाकर चिकित्सकीय परामर्श लें। जिला मलेरिया अधिकारी (डीएमओ) सतेंद्र कुमार ने बताया – विशेष अभियान के दौरान संबंधित विभागों की ओर से जागरूकता के लिए गतिविधियों का आयोजन किया जा रहा है। पहले तीन सप्ताह के दौरान शिक्षा विभाग की ओर से 602 स्कूल रैलियों का आयोजन कर संचारी रोगों के प्रति जागरूकता बढ़ाने का प्रयास किया गया। इसके साथ ही पंचायती राज विभाग की ओर से ग्राम प्रधानों द्वारा 218 प्रभात फेरियों और 213 ग्राम स्तरीय बैठकें आयोजित कर डेंगू, मलेरिया और अन्य संचारी रोगों के बारे में जागरूक किया गया। ग्राम विकास विभाग ने 1722 ड्रेन साफ कराए और 215 गांवों में झाड़ियां काटने के साथ ही 156 हैंडपंप के प्लेटफार्म रिपेयर किए गए ताकि अनावश्यक रूप से जलजमाव न होने पाए। डीएमओ सतेंद्र कुमार ने बताया कि शहरी क्षेत्र में नगर विकास विभाग द्वारा 889 ड्रेन साफ कराए गए और 75 वार्डों में फॉगिंग कराई गई। इसके साथ पशुपालन विभाग की ओर से 157 बैठकें आयोजित की गईं, 193 सुअर बाड़ों में जाकर सुअर पालने वालों का संवेदीकरण किया गया और कृषि विभाग ने चूहे आदि से फैलने वाली बीमारियों और उनसे बचाव के लिए 206 संवेदीकरण बैठकों का आयोजन किया । अभियान के दौरान मौका मुआयना करने के लिए अब तक जिला स्तरीय अधिकारियों के द्वारा 29 विजिट की गईं हैं।