- जरूरत पड़ने पर एंबुलेंस में मौजूद प्रशिक्षित स्टाफ की मिलती हैं सेवाएं
- गर्भवती पंजीकरण और एमसीपी कार्ड से आसान हो जाती हैं प्रसव सेवाएं
हापुड़। प्रसव पीड़ा होने पर गर्भवती को स्वास्थ्य केंद्र तक ले जाने के लिए निशुल्क एंबुलेंस सेवा -102 का ही इस्तेमाल करें। यह एंबुलेंस सेवा खासतौर पर गर्भवती को ले जाने के लिए ही है, लिहाजा इसमें प्रसव के लिए प्रशिक्षित स्टाफ की तैनाती के साथ अन्य सुविधा भी उपलब्ध रहती हैं। यह बातें मंगलवार को मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. सुनील कुमार त्यागी ने कहीं। उन्होंने कहा पहले गर्भवती समय से अपना पंजीकरण करा लें और मातृ एवं बाल सुरक्षा (एमसीपी) कार्ड भी बनवा लें। इसके लिए वह आशा कार्यकर्ता और एएनएम से मदद लें। इसके साथ ही हर माह की नौ तारीख को नजदीकी सरकारी स्वास्थ्य केंद्र पर आयोजित प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान (पीएमएसएमए) दिवस पर जाकर निशुल्क प्रसव पूर्व जांच अवश्य कराएं।
सीएमओ डा. त्यागी ने कहा कि पीएमएसएमए दिवस पर प्रसव पूर्व जांच करके हाई रिस्क प्रेगनेंसी (एचआरपी) चिन्हित की जाती हैं, ऐसा करने प्रसव के समय आने वाली आपात स्थिति के लिए चिकित्सक स्वयं भी तैयार होती है और समय रहते एचआरपी मैनेजमेंट का भी प्रयास किया जाता है। मसलन, यदि कोई गर्भवती एनीमिक है तो खानपान को लेकर उसकी काउंसलिंग के साथ ही जरूरी दवाएं भी दी जाती हैं और सामान्य प्रसव होने की संभावना बढ़ जाती है। इसके अलावा प्रसव के लिए स्वास्थ्य केंद्र पर सभी जरूरी व्यवस्थाएं समय से उपलब्ध कराने में सहुलियत होती है। मातृ एवं शिशु मृत्य दर पर प्रभावी अंकुश लगाने के लिए सरकार संस्थागत प्रसव बढ़ाने पर जोर दे रही है। सीएमओ ने जनपद वासियों का आह्वान किया है कि सरकार की ओर से उपलब्ध कराई जा रही सेवाओं का लाभ उठाएं और जिम्मेदार नागरिक बनें।
सिंभावली और धौलाना में प्रशिक्षित स्टाफ ने रास्ते में कराए सुरक्षित प्रसव
सिंभावली ब्लॉक के सेना गांव निवासी मनीष की पत्नी सन्नो को प्रसव पीड़ा हुई। उसके परिजनों ने स्वास्थ्य केंद्र लेकर जाने के लिए एंबुलेंस सेवा – 102 को कॉल किया। एंबुलेंस गांव पहुंची और प्रसव पीड़ा से कराह रही गर्भवती को लेकर स्वास्थ्य केंद्र के लिए निकल पड़ी। लेकिन रास्ते में ही पीड़ा अत्याधिक बढ़ने पर एंबुलेंस में मौजूद इमरजेंसी मेडिकल टेक्नीशियन (ईएमटी) बृजेश और आशा कार्यकर्ता कुसुम ने सुरक्षित प्रसव कराया। सन्नो ने बच्ची को जन्म दिया है, प्रसव कराने के बाद एंबुलेंस जच्चा- बच्चा को प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र (पीएचसी) सिंभावली लेकर पहुंची जहां दोनों को डा. मरियम की निगरानी में रखा गया है। दोनों पूरी तरह स्वस्थ हैं। दूसरी ओर धौलाना ब्लॉक के गांव उदयरामपुर नगला गांव निवासी राजकुमार की पत्नी संगीता को सोमवार देर शाम करीब आठ बजे एंबुलेंस – 102 चिकित्सालय के लिए लेकर निकली तो रास्ते में ही पीड़ा बढ़ने पर ईएमटी पवन चौधरी और आशा कार्यकर्ता जगिता ने सुरक्षित प्रसव कराया। जच्चा-बच्चा, दोनों स्वस्थ्य हैं और फिलहाल उन्हें धौलाना सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर डा. रजनी की देखरेख में रखा गया है।