गाजियाबाद। प्रदेश कांग्रेस कमेटी के सदस्य चौधरी वीरेन्द्र सिंह ने आरोप लगाते हुए कहा है कि प्रदेश में कालाबाजारी चरम पर है और जनता महामारी के दंश के साथ ही महंगाई की दोहरी मार झेलने को मजबूर है। जिंदगी बचाने वाली दवाइयों की भी जमाखोरी करके मुनाफा कमा रहे हैं। प्रशासन दावे तो कर रहा है कि लोगों के इस्तेमाल में आने वाली आवश्यक वस्तुओं की कालाबाजारी नहीं होने दी जाएगी लेकिन हालात इसके ठीक विपरीत नजर आ रहे हैं। मुख्य बाजारों में पुलिस लॉकडाउन कर्फ्यू का कड़ाई से पालन करा रही है, अधिकांश व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद हैं लेकिन छोटी-छोटी गलियों में कालाबाजारी करने वाले अपनी गतिविधियां चला रहे हैं। बीड़ी, सिगरेट, पान-मसाला आदि आवश्यक वस्तुओं में नहीं आते लेकिन उनके भी रेट निर्धारित हैं, उनका ब्लैक करने वाले डेढ़ गुना से दोगुना तक दाम वसूल कर रहे हैं।10 रुपए में बिकने वाला बीड़ी का बंडल 15 से 20 रुपए में, पान मसाला 5 वाला 10 में, सिगरेट भी डेढ़ गुना महंगे रेटों पर बेची जा रही है। खाद्य तेल सरसों, रिफाइंड आदि पर भी भारी कालाबाजारी है। अति आवश्यक खाद्य सामग्री आटा, चीनी पर भी मनमानी कीमत वसूली जा रही है। ऐसे लोग समाज में लंबा लॉकडाउन लगने की अफवाह फैलाकर रुपए बटोरने में जुटे हुए हैं। सरकार कई बार स्पष्ट कर चुकी है कि अभी लंबी बंदी का कोई इरादा नहीं है लेकिन अफवाहों के कारण लोग भी अपनी आम जरूरतों के सामान का स्टाक कर रहे हैं। स्थिति यह है कि कभी दुकानों के बाहर रखे रहने वाले नमक के भी दोगुने दाम कर दिए गए हैं। बाजारों में दुकान बंद होने का गलियों में बैठे छोटे दुकानदारों की दुकानों में माल का स्टाक पहले के मुकाबले अधिक दिखलाई दे रहा है। वह लोग मुख्य बाजार की दुकानों के सामान की आपूर्ति गलियों से ही कर रहे हैं। हो सकता है इसमें मुख्य बाजार के कुछ दुकानदार भी शामिल हों, क्योंकि गलियों की दुकानों पर मेन बाजार की थोक दुकानों से ही सामान पहुंचता है। नगर ही नहीं ग्रामीण क्षेत्रों में भी सामान महंगा मिल रहा है। लोग अधिकारियों से इस बारे में कई बार शिकायत कर चुके हैं लेकिन कोई कार्रवाई कालाबाजारी करने वालों के खिलाफ नहीं की गई है। लोग मजबूरी में मुंह मांगे दामों पर सामान खरीदने पर मजबूर हैं। मेडिकल स्टोर पर दवाओं का भी कृत्रिम अभाव दिखाकर महंगे दाम स्टोर वाले वसूल रहे हैं। यदि कोई विरोध करता है तो सामान नहीं दिया जाता, कहा जाता है कि हम महंगा ला रहे हैं आगे भी महंगा बेचना हमारी मजबूरी है। कांग्रेस पार्टी जनहित में सरकार, शासन और प्रशासन से मांग करती है कि ऐसा करने वाले लोगों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए।